एजेंसी/ नई दिल्ली : नेशनल एलिजिबिलिटी एंड एंट्रेंस टेस्ट को राष्ट्रपति की स्वीकृति मिलने के बाद वैधानिक मान्यता मिल गई। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने इस मामले में कहा कि राष्ट्रपति के दस्तखत होने के ही साथ नीट परीक्षा को स्वीकृत कर लिया गया। उनका कहना था कि कुछ ऐसी समस्याऐं भी थीं जिनका उल्लेख सर्वोच्च न्यायालय में हुआ था। जेपी नड्डा ने इस दौरान कहा कि पाठ्यक्रम, भाषा का माध्यम और किसी भी परीक्षा में जिस तरह की परेशानी थी उसे अध्यादेश के माध्यम से इस वर्ष के लिए सुधार लिया गया। आने वाले वर्ष में नीट पूरी तरह से लागू हो जाएगी।
आने वाले वर्ष में नेशनल एलिजिबिटी एंट्रेस टेस्ट के दायरे में सरकारी और निजी संस्थान भी शामिल हो जाऐंगे। इस मामले में जेपी नड्डा ने भी कहा कि करीब 6.5 लाख विद्यार्थी परीक्षा में शमिल हुए। जिसमें से निजी संस्थानों में राज्य अपने कोटे के तहत विभिन्न राज्यों के विद्यार्थियों द्वारा एडमिशन लेंगे।
उल्लेखनीय है कि सर्वोच्च न्यायालय ने अपने आदेश में नीट के दूूूसरे दौर की परीक्षा 24 जुलाई को होने की बात कही है, जिसमें यह कहा गया कि इस वर्ष परीक्षा संचालित करने की छूट दी गई है। नीट परीक्षा के आयोजन को लेकर कंद्र के एक मंत्री ने कहा कि जो आरोप दिल्ली सरकार या मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के माध्यम से लगाए गए हैं। वे बेहद गलत हैं। इसी तरह से मैनेजमेंट कोटा नीट के माध्यम से भरा जा सकता है।
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