इंदौर: राज्यसेवा प्रारंभिक परीक्षा के रिजल्ट के लिए उम्मीदवारों को अभी और इंतजार करना पड़ेगा. वहीं, आरक्षण को लेकर जारी कानूनी लड़ाई इसका कारण बन हुआ है. वहीं, पीएससी ने स्पष्ट कर दिया है कि जब तक आरक्षण पर कोर्ट अंतिम निर्णय न सुना दे, तब तक परिणाम जारी नहीं किया जाएगा. इसी के साथ 27 फरवरी के पश्चात् ही इस पर स्थिति स्पष्ट हो सकेगी. पीएससी ने प्रारंभिक परीक्षा की फाइनल आंसरशीट भी डेढ़ सप्ताह पहले ही जारी कर दी है. अंतिम उत्तरकुंजी जारी होने के तीन-चार दिनों में पीएससी रिजल्ट भी जारी कर देता है. वहीं, इस बार ऐसा नहीं हो सका है, क्योंकि आरक्षण को लेकर कुछ उम्मीदवारों ने हाई कोर्ट में याचिका दर्ज कर रखी है. पीएससी के सचिव दिनेश जैन के अनुसार 27 फरवरी को इस याचिका पर सुनवाई है. यह अंतिम सुनवाई हो सकती है. कोर्ट जब निर्णय देगा, तब ही आयोग रिजल्ट जारी करेगा.
कोर्ट का आदेश मौजूदा फॉर्मूले से कुछ भी अलग हुआ और हमने पहले रिजल्ट जारी कर दिया. तब से रिजल्ट संशोधित करने की नौबत आएगी. ऐसी किसी भी स्थिति में कानूनी विवाद भी बढ़ेंगे. इससे आगे की प्रक्रिया भी बाधित होगी. हम इस सबसे बचने के लिए कोर्ट के निर्णय का इंतजार कर रहे हैं.
प्रदेश सरकार की नीति के खिलाफ महीनेभर से धरने पर बैठे अतिथि शिक्षकों ने पीएससी द्वारा की गई सहायक प्राध्यापक भर्ती परीक्षा में चयनित उम्मीदवारों के दस्तावेज सार्वजनिक करने की मांग उठा दी है. जिसमें अतिथि शिक्षकों के आंदोलन को लेकर ही सिंधिया भी सरकार के विरोध में बयान दे चुके हैं. पीएससी द्वारा बीती सरकार के कार्यकाल में हुई अतिथि शिक्षक चयन प्रक्रिया में काफी गड़बड़ियों के आरोप लग रहे हैं. इस सरकार ने जांच के बजाय सभी को नियुक्ति दे दी. इससे कांग्रेस के लोग भी नाखुश नजर आ रहे हैं. इसी के चलते अतिथि शिक्षकों को भी नौकरी से हटा दिया गया था.