दिल्ली में प्राइवेट स्कूलों की मनमानी फीस बढ़ोतरी को लेकर आप पार्टी और बीजेपी के बीच सियासी घमासान जारी है। आप नेता सौरभ भारद्वाज ने शिक्षा मंत्री आशीष सूद पर झूठ बोलने और कोर्ट की कार्यवाही को तोड़-मरोड़कर पेश करने का गंभीर आरोप लगाया है।
भारद्वाज का कहना है कि आशीष सूद ने जो बातें मीडिया में कहीं वह पूरी तरह से गलत हैं। उन्होंने कहा कि शिक्षा मंत्री ने दावा किया कि सरकार ने दिल्ली के 650 प्राइवेट स्कूलों का ऑडिट किया है, लेकिन ऐसा संभव ही नहीं है। उन्होंने सवाल उठाया कि अगर सच में ऑडिट हो चुका है, तो उसकी रिपोर्ट अब तक सार्वजनिक क्यों नहीं की गई?
सौरभ भारद्वाज के मुख्य आरोप-
हाईकोर्ट की कार्यवाही को गलत तरीके से पेश किया गया।
मात्र 10 दिनों में 650 स्कूलों का ऑडिट करना असंभव है।
अगर ऑडिट हो चुका है तो रिपोर्ट सार्वजनिक करें।
अगर फीस वसूली पर कोई आदेश दिया गया है तो उसकी कॉपी मीडिया को दिखाई जाए।
उन्होंने यह भी कहा कि सरकार को यह बताना चाहिए कि किस स्कूल ने नियमों का उल्लंघन करते हुए फीस बढ़ाई और किन स्कूलों की फीस वाजिब थी।
पृष्ठभूमि में क्या हुआ था?
जानकारी के लिए बता दें कि ये विवाद दिल्ली के कुछ प्राइवेट स्कूलों में अचानक भारी फीस बढ़ोतरी के बाद सामने आया था। जिन अभिभावकों ने फीस नहीं भरी, उनके बच्चों को क्लास में बैठने नहीं दिया गया। उन्हें लाइब्रेरी में बैठा कर मानसिक रूप से प्रताड़ित किया गया। टॉयलेट तक जाने पर रोक लगाई गई।
डीएम की रिपोर्ट में क्या है?
3 अप्रैल को डीएम ने डीपीएस द्वारका का निरीक्षण किया और रिपोर्ट में बच्चों को प्रताड़ित किए जाने की बात मानी गई। इस रिपोर्ट में स्कूल की फीस बढ़ोतरी का कोई ज़िक्र नहीं है, जिससे सवाल खड़े हो रहे हैं |
आशीष सूद का पक्ष-
शिक्षा मंत्री आशीष सूद ने आरोप लगाया कि आम आदमी पार्टी झूठ फैला रही है। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार ने 600 स्कूलों का ऑडिट कर लिया है और यह काम पहले की सरकारों ने कभी नहीं किया।