दिल्ली सरकार के पूर्व मंत्री और विधायक कपिल मिश्रा ने 31 मई को विधानसभा सदन में हुई मारपीट के विरोध में शिकायत दर्ज कराने का फैसला किया है. कपिल मिश्रा के मुताबिक बुधवार को विधानसभा में विधायक मदनलाल, जरनैल सिंह और अमानतुल्लाह खान ने उनके साथ मारपीट की थी जिसके बाद से यह मुद्दा जोर पकड़ चुका है. कपिल ने ब्लॉग लिखकर इस पूरे मुद्दे पर सफाई दी है.
उन्होंने अपने ब्लॉग में लिखा कि 31 तारीख को विधानसभा में मेरा गला दबाने की कोशिश होती है. एक विधायक कस कर और देर तक मेरा गला दबाये रखते हैं और अन्य कुछ विधायक मुझ पर हमले करते रहते हैं. सदन में मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री की मौजूदगी में यह सब होता है. उपमुख्यमंत्री तो कुछ विधायको को इशारा तक करते हैं मेरी तरफ लपकने का, मुख्यमंत्री लगातार मुस्कुराते रहते हैं, बैठे रहते हैं.
कपिल ने लिखा कि मैंने सोचा था अरविंद केजरीवाल इस घटना के बारे में कुछ कहेंगे. बोलेंगे कि जो हुआ वो गलत था, विधायकों के व्यवहार की भर्त्सना करेंगे. अगर उस वक्त अरविंद केजरीवाल सिर्फ अपनी सीट पर खड़े भी हो जाते तो हिंसा नहीं हो सकती थी. अपने विधायकों को मना कर सकते थे. आज तीन दिन के बाद भी अरविंद केजरीवाल ने न विधायकों के खिलाफ कोई कार्रवाई की और न ही इस घटना को गलत कहा. जिन विधायकों ने हमला किया उनमें से एक के साथ कल सार्वजनिक तौर पर घूम कर एक तरह से शाबाशी भी दी.
कपिल मिश्रा ने लिखा कि इस पूरे मामले में अरविंद केजरीवाल जी आपने दिखाया कि आपका दिल बहुत छोटा है और नीयत खराब. सोमवार 11 बजे मैं सिविल लाइंस थाने में किस तरह विधानसभा के अंदर मुझे जान से मारने की कोशिश की गई. कैसे विधायक मदनलाल द्वारा मेरा गला दबाया गया और देर तक दबाये रखा गया. विधायक जरनैल सिंह और अमानतुल्ला ने लगातार हमले किये गए और कैसे मनीष सिसोदिया ने विधायकों को इशारा किया गया, इस पूरे मामले की FIR दर्ज करवाऊंगा. कपिल ने लिखा कि अब इसका न्याय, न्यायालय में ही किया जाएगा और और घोटालो का पर्दाफाश करता रहूंगा, न डरूंगा न भ्रष्टाचार पर चुप रहूंगा.