UAE में पीएम मोदी के सम्मान से चिढ़ा पाकिस्तान, स्पीकर ने रद्द किया दौरा

जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 के ज्यादातर प्रावधानों को खत्म किए जाने के बाद से पाकिस्तान बौखलाया हुआ है। पाकिस्तान के मंत्री फर्जी खबरें फैला रहे हैं तो उनके विदेश मंत्री और प्रधानमंत्री कश्मीर को लेकर दुनियाभर के नेताओं से बात कर रहे हैं।

पाकिस्तान यह दिखाने की कोशिश कर रहा है कि कश्मीर के लोगों के साथ बड़ा ‘अन्याय’ हो रहा है। उसने संयुक्त राष्ट्र का भी दरवाजा खटखटाया लेकिन हर जगह दो टूक जवाब मिला।

अब पड़ोसी मुल्क यूएई द्वारा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अपने सर्वोच्च सम्मान से सम्मानित किए जाने से चिढ़ गया है। पाकिस्तानी सेनेट के अध्यक्ष सादिक संजरानी ने यूएई की अपनी निर्धारित यात्रा ही रद्द कर दी। दुनिया के कई मुस्लिम देशों ने आतंकवाद के मुद्दे पर भारत का समर्थन किया है। पीएम मोदी को बहरीन ने भी सम्मानित किया है। यह सब पाकिस्तान को रास नहीं आ रहा है। 

यूएई में सेनेट के चेयरमैन की यात्रा से कश्मीरी लोगों की भावनाओं को ठेस पहुंचेगी, इसलिए, उन्होंने अपने और एक संसदीय प्रतिनिधिमंडल के दौरे को रद्द करने का फैसला किया है। 5 अगस्त को भारत द्वारा जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 को निरस्त करने के बाद से नई दिल्ली और इस्लामाबाद के बीच तनाव काफी बढ़ गया है। 

‘यूएई को कश्मीर के बारे में नहीं पता’ 
दूसरी तरफ पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने कहा कि अभी यूएई को कश्मीर के हालात की जानकारी नहीं है, लेकिन जब उन्हें तथ्य बताए जाएंगे तो वह पाकिस्तान को निराश नहीं करेंगे। 

फ्रांस, संयुक्त अरब अमीरात और बहरीन तीन देशों के दौरे पर निकले मोदी शुक्रवार को अबू धाबी पहुंचे थे। भारतीय प्रधानमंत्री को शनिवार को यूएई के सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘ऑर्डर ऑफ जायेद’ से सम्मानित किया गया। पूर्व में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन, ब्रिटेन की महारानी एलिजाबेथ द्वितीय और चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग को इस सम्मान से नवाजा जा चुका है। 

प्रधानमंत्री मोदी ने राष्ट्र प्रमुखों से बातचीत के दौरान आतंकवाद का भी मुद्दा उठाया। दुनिया के बड़े देशों ने कहा है कि यह एक द्विपक्षीय मामला है और किसी देश को दखल देने की कोई जरूरत नहीं है। प्रधानमंत्री मोदी जी7 समिट में हिस्सा लेने फ्रांस पहुंचेंगे। वहां उनकी मुलाकात डॉनल्ड ट्रंप से भी होगी। ऐसे में हो सकता है कि कश्मीर के मुद्दे पर दोनों नेताओं के बीच बात हो। 

कश्मीर पर फैसले के बाद बौखलाए पाकिस्तान ने एक बार आईसीजे जाने की भी धमकी दी है। लेकिन भारत के राजनयिकों और प्रधानमंत्री मोदी ने दुनिया को यह बात बताई है कि कश्मीर का मामला भारत का आंतरिक मुद्दा है और संविधान के दायरे में रहकर इस पर फैसला किया गया है। पाकिस्तान यह जताने की कोशिश कर रहा है कि कश्मीर में लोग परेशान हैं। अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद किसी बड़ी अप्रिय घटना की सूचना नहीं है और घाटी के लोगों की जिंदगी धीरे-धीरे पटरी पर लौट आई है। 

हमारे दूसरे पड़ोसी बांग्लादेश ने भी कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटाए जाने का समर्थन करते हुए कहा कि यह भारत का आंतरिक मामला है। पाकिस्तान ने यह मुद्दा यूएनएससी में भी उठाया था। इसके बाद एक अनौपचारिक बैठक हुई और पाकिस्तान को निराशा हाथ लगी। शनिवार को पाकिस्तान के विदेश मंत्री ने संयुक्त राष्ट्र के प्रमुख एंतोनियो गुतेरस से भी बात की थी। 

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