अकाल तख्त के जत्थेदार ज्ञानी गुरबचन सिंह से अमर उजाला ने बातचीत की तो ‘नानक शाह फकीर’ मूवी को लेकर उन्होंने तीखे तेवर दिखाए। श्री अकाल तख्त साहब ने नानक शाह फकीर के खिलाफ अपना हुक्मनामा जारी कर दिया है और बाकायदा एसजीपीसी को पत्र लिखकर आदेश दिया गया है कि फिल्म को रोकने के लिए हर तरह के कदम उठाए जाएं। फिल्म निर्माता सिक्का इसी फिल्म को दो साल पहले एसजीपीसी व अकाल तख्त साहिब द्वारा हरी झंडी दिए जाने का दावा कर रहे हैं वहीं सिख संगत इसका डटकर विरोध कर रही है। अमर उजाला के वरिष्ठ संवाददाता ने फिल्म व उस पर उठे विवादों पर श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी गुरबचन सिंह से बातचीत की।
– नानक शाह फकीर फिल्म पर विवाद हो गया है, ऐसी फिल्मों से सिख संगत में रोष पैदा हो जाता है, ऐसा तनाव बार-बार न बने, इसके लिए क्या कदम उठाए जा रहे हैं।
ज्ञानी गुरबचन सिंह : देखो, हम सिख सेंसर बोर्ड का गठन करेंगे, जिसमें विद्वानों के अलावा एसजीपीसी, डीजीपीसी को भी शामिल किया जाएगा। हमारा सिख सेंसर बोर्ड अपनी वर्किंग खुद करेगा, हमें केंद्रीय सेंसर बोर्ड से कुछ लेना देना नहीं है। उनको तो हमारी भावनाओं व मान मर्यादा की कद्र करनी चाहिए, ऐसी फिल्मों को रोकना चाहिए।
– केंद्रीय सेंसर बोर्ड ने फिल्म को कैसे रिलीज करने का आदेश दिया, क्या आपत्ति दर्ज कराई गई थी।
ज्ञानी गुरबचन सिंह : 2003 में यह आदेश जारी हुआ है कि कोई भी व्यक्ति गुरु साहेब या उनके परिवार के सदस्य की एक्टिंग नहीं कर सकता, इस बारे में केंद्रीय सेंसर बोर्ड को पता है। लेकिन फिर भी फिल्म को रिलीज करने का आदेश जारी कर दिया गया। इसलिए ही हम अपना सेंसर बोर्ड गठित करने जा रहे हैं।
– फिल्म निर्माता सिक्का का दावा है कि नानक शाह फकीर को एसजीपीसी व अकाल तख्त साहिब ने हरी झंडी दी थी और प्रशंसा की थी।
ज्ञानी गुरबचन सिंह : देखो नानक शाह फकीर को जब बनाना शुरू किया था तो वह (सिक्का) मेरे पास आया था और कहा था कि मैं धर्म के प्रसार के लिए फिल्म बनाने जा रहा हूं, निश्चित तौर पर उसकी प्रशंसा की गई थी और फिर उसको शुरुआती दौर पर ही एक पत्र दिया गया था लेकिन उसमें कहीं यह नहीं लिखा कि आपने एक अच्छी फिल्म बनाई है, उसके लिए आप प्रशंसा के पात्र हो। उसने फिल्म में कई आपत्तिजनक बातें की, जिसमें गुरु सहिबान की एक्टिंग के लिए एक्टर को रखा, बीबी नानकी का किरदार निभाया। मैंने, कई विद्वानों ने इस फिल्म के कुछ सीन को देखा और आपत्तियां जता दी थी कि इसके सीन को बदला जाए, यह बर्दाश्त के काबिल नहीं है। हमें तो सिक्का ने यकीन दिलाया था कि वह फिल्म को बदलने के बाद रिलीज करेगा, लेकिन उसने झूठ बोला और गुमराह किया।
– अगर सिक्का ने झूठ बोला और गुमराह किया तो गंभीर विषय है .. आपका क्या कदम होगा ?
ज्ञानी गुरबचन सिंह : सिक्का को तत्काल फिल्म को रिलीज करने की जिद्द छोड़नी चाहिए। अगर सिक्का ने जिद्द न छोड़ी तो अकाल तख्त पर तलब किया जाएगा।
– अगली रणनीति क्या है, सुप्रीम कोर्ट ने तो फिल्म रिलीज करने का आदेश जारी कर दिया है।
ज्ञानी गुरबचन सिंह : वीरवार को पांचों सिंह सहिबान की मीटिंग बुलाई जा रही है, जिसमें इस पर चर्चा होगी। एसजीपीसी को लिखित आदेश जारी कर दिया गया है कि फिल्म के लिए कानूनी जंग लड़ी जाए और इस फिल्म को किसी सूरत में रिलीज न होने
दिया जाए।