चाणक्य रक्षा संवाद में भारतीय सेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे ने कहा, “40,000 अग्निवीरों का पहला बैच इकाइयों में शामिल हो गया है और क्षेत्र से प्रतिक्रिया अच्छी और उत्साहजनक है।
सेना प्रमुख जनरल मनोज पांड ने गुरुवार को एक कार्यक्रम के दौरान क्षेत्रीय शांति, कूटनीति और सेना की तैयारियों को लेकर चर्चा की। उन्होंने रूस और यूक्रेन युद्ध से मिली एक बेहद अहम सीख को साझा करते हुए कहा कि भारतीय सेना सैन्य हार्डवेयर के आयात पर निर्भर नहीं रह सकती। इसके अलावा उन्होंने एलएसी पर मौजूदा स्थिति को लेकर भी बात की। जनरल पांडे ने कहा कि पूर्वी लद्दाख में भारत और चीन के बीच सीमा विवाद के मद्देनजर कहा कि सीमा पर स्थिति स्थिर बनी हुई है।
चाणक्य रक्षा संवाद में भारतीय सेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे ने कहा, “40,000 अग्निवीरों का पहला बैच इकाइयों में शामिल हो गया है और क्षेत्र से प्रतिक्रिया अच्छी और उत्साहजनक है। उन्होंने कहा कि सशस्त्र बलों को विभिन्न राष्ट्रीय सुरक्षा चुनौतियों से निपटने के लिए पूरी तरह तैयार रहने की आवश्यकता है।
उन्होंने कहा कि सेना समग्र सुधार प्रक्रिया के रूप में सुरक्षा बल के पुनर्गठन, प्रौद्योगिक समावेशन, मौजूदा संरचनाओं में सुधार, समन्वय और मानव संसाधन प्रबंधन पर ध्यान केंद्रित कर रही है। जनरल पांडे ने कहा कि हम सेना में आधुनिक प्रौद्योगिकी का लाभ उठाने पर खास ध्यान केंद्रित कर रहे हैं।