पूर्व मंत्री के बेटे ब्रजेश लोधी ने कहा कि मानवता सबसे पहले है, उसके लिए अगर खुद को थोड़ा कष्ट होता भी है तो उसे अनदेखा करके सभी को मदद करनी चाहिए। मेरे प्रयासों से एक व्यक्ति का जीवन सुरक्षित है, यह मेरे लिए बड़ी खुशी की बात है।
दमोह जिले के तेंदूखेड़ा थाना क्षेत्र अंतर्गत सड़क पर पड़े एक घायल बाइक सवार को पूर्व मंत्री दशरथ सिंह के बेटे ने समय पर अस्पताल पहुंचा दिया। ठीक समय पर इलाज होने से उसकी जान बच गई। घटना बुधवार रात की है। अब घायल बाइक सवार बिल्कुल ठीक है। उसने पूर्व मंत्री के बेटे को धन्यवाद भी दिया है।
दरअसल, पूर्व मंत्री दशरथ सिंह लोधी के बेटे ब्रजेश लोधी बुधवार रात जबलपुर जिले से वापस अपने गांव आ रहे थे। इस दौरान तेंदूखेड़ा थाना क्षेत्र में सड़क किनारे बेहोशी की हालत में पड़े एक युवक अजीत आदिवासी पर उनकी नजर पड़ी। जिसे देख ब्रजेश ने अपनी गाड़ी रोकी और डायल 100 व 108 पर इसकी सूचना दी। लेकिन, दोनों वाहन व्यस्त थे, इसलिए वह नहीं पहुंच पाए। इसके बाद ब्रजेश अपने परिवार और साथियों की मदद से घायल युवक को तेंदूखेड़ा प्राथमिक स्वस्थ केंद्र लेकर पहुंचे। सही समय पर उपचार मिलने से युवक की जान बच गई।
बादीपूरा निवासी ब्रजेश लोधी ने घटना को लेकर बताया कि वह रात करीब 11 बजे जबलपुर से वापस अपने गांव लाट रहे थे। जैसे ही वह धनगौर से बादीपूरा पक्के मार्ग पर पहुंचे। उनकी नजर सड़क किनारे पड़े युवक इमलिया चौकी के लकलका गांव निवासी अजीत आदिवासी पर गई, जो बेहोशी और गंभीर हालत में सड़क किनारे पड़ा था। उन्होंने पहले शासन द्वारा चलाई गई वाहन सुविधा से संपर्क किया, लेकिन वाहन दूसरी जगह व्यस्त थे। इसलिए परिवार के सदस्य को दूसरे वाहन से भेजकर तत्काल घायल युवक को तेंदूखेड़ा स्वस्थ केंद्र लेकर आए। इससे उसे समय पर इलाज मिल गया। उन्होंने कहा कि मानवता सबसे पहले है, उसके लिए अगर खुद को थोड़ा कष्ट होता भी है तो उसे अनदेखा करके सभी को मदद करनी चाहिए। मेरे प्रयासों से एक व्यक्ति का जीवन सुरक्षित है, यह मेरे लिए बड़ी खुशी की बात है।
घायल अजीत आदिवासी ने बताया कि वह अपने गांव से रिश्तेदारी में धनगौर गांव गया था। रात में वहां से वापस लौटते समय उसकी बाइक अनियंत्रित हो गई और वह सड़क पर गिरकर बेहोश हो गया। अस्पताल पहुंचने पर उसे होश आया।