डॉलर के मुकाबले रुपये में गिरावट का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है. बुधवार को रुपये ने पहली बार 73 का आंकड़ा पार कर लिया है. एक डॉलर के मुकाबले रुपया 33 पैसे की गिरावट के साथ खुला है. इस गिरावट के साथ शुरुआत करने के बाद रुपया 73.24 के स्तर पर पहुंच गया है. इससे पहले सोमवार को रुपया डॉलर के मुकाबले 72.91 के स्तर पर बंद हुआ. यह पहली बार है जब रुपये में डॉलर के मुकाबले इतनी बढ़ी गिरावट देखने को मिली है. रुपये के अब तक के इतिहास में यह सबसे बड़ी गिरावट है. रुपये में यह गिरावट आगे भी बढ़ने की आशंका है. दरअसल यूएस की तरफ से ईरान पर सैंक्शन लगाए जाने का समय नजदीक आने से कच्चे तेल की कीमतों में एक बार फिर उथल-पुथल शुरू हो गई है. विशेषज्ञों का मानना है कि कच्चे तेल की बढ़ती कीमतों का असर रुपये पर भी देखने को मिलेगा. बुधवार को कच्चे तेल की कीमतों में भी बढ़ोतरी का सिलसिला शुरू हो गया है. बता दें कि यूएस की तरफ से ईरान पर लगाए जाने वाला सैंक्शन 4 नवंबर से प्रभावी हो जाएगा. विशेषज्ञ चिंता जता रहे हैं कि इस सैंक्शन के चलते कच्चे तेल की सप्लाई में कमी आ सकती है. दूसरी तरफ, बुधवार से शुरू हो रही भारतीय रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समित‍ि की बैठक पर भी फॉरेक्स मार्केट की नजर है. इस मीटिंग में आरबीआई रुपये को सहारा देने के लिए ब्याज दरों में बढ़ोतरी कर सकता है.

रुपया पहली बार पहुंचा 73 के पार, 33 पैसे की गिरावट के साथ खुला

डॉलर के मुकाबले रुपये में गिरावट का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है. बुधवार को रुपये ने पहली बार 73 का आंकड़ा पार कर लिया है. एक डॉलर के मुकाबले रुपया 33 पैसे की गिरावट के साथ खुला है.डॉलर के मुकाबले रुपये में गिरावट का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है. बुधवार को रुपये ने पहली बार 73 का आंकड़ा पार कर लिया है. एक डॉलर के मुकाबले रुपया 33 पैसे की गिरावट के साथ खुला है. इस गिरावट के साथ शुरुआत करने के बाद रुपया 73.24 के स्तर पर पहुंच गया है. इससे पहले सोमवार को रुपया डॉलर के मुकाबले 72.91 के स्तर पर बंद हुआ. यह पहली बार है जब रुपये में डॉलर के मुकाबले इतनी बढ़ी गिरावट देखने को मिली है. रुपये के अब तक के इतिहास में यह सबसे बड़ी गिरावट है. रुपये में यह गिरावट आगे भी बढ़ने की आशंका है. दरअसल यूएस की तरफ से ईरान पर सैंक्शन लगाए जाने का समय नजदीक आने से कच्चे तेल की कीमतों में एक बार फिर उथल-पुथल शुरू हो गई है. विशेषज्ञों का मानना है कि कच्चे तेल की बढ़ती कीमतों का असर रुपये पर भी देखने को मिलेगा. बुधवार को कच्चे तेल की कीमतों में भी बढ़ोतरी का सिलसिला शुरू हो गया है. बता दें कि यूएस की तरफ से ईरान पर लगाए जाने वाला सैंक्शन 4 नवंबर से प्रभावी हो जाएगा. विशेषज्ञ चिंता जता रहे हैं कि इस सैंक्शन के चलते कच्चे तेल की सप्लाई में कमी आ सकती है. दूसरी तरफ, बुधवार से शुरू हो रही भारतीय रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समित‍ि की बैठक पर भी फॉरेक्स मार्केट की नजर है. इस मीटिंग में आरबीआई रुपये को सहारा देने के लिए ब्याज दरों में बढ़ोतरी कर सकता है.

इस गिरावट के साथ शुरुआत करने के बाद रुपया 73.24 के स्तर पर पहुंच गया है. इससे पहले सोमवार को रुपया डॉलर के मुकाबले 72.91 के स्तर पर बंद हुआ.

यह पहली बार है जब रुपये में डॉलर के मुकाबले इतनी बढ़ी गिरावट देखने को मिली है. रुपये के अब तक के इतिहास में यह सबसे बड़ी गिरावट है.

रुपये में यह गिरावट आगे भी बढ़ने की आशंका है. दरअसल यूएस की तरफ से ईरान पर सैंक्शन लगाए जाने का समय नजदीक आने से कच्चे तेल की कीमतों में एक बार फिर उथल-पुथल शुरू हो गई है.

विशेषज्ञों का मानना है कि कच्चे तेल की बढ़ती कीमतों का असर रुपये पर भी देखने को मिलेगा. बुधवार को कच्चे तेल की कीमतों में भी बढ़ोतरी का सिलसिला शुरू हो गया है.

बता दें कि यूएस की तरफ से ईरान पर लगाए जाने वाला सैंक्शन 4 नवंबर से प्रभावी हो जाएगा. विशेषज्ञ चिंता जता रहे हैं कि इस सैंक्शन के चलते कच्चे तेल की सप्लाई में कमी आ सकती है.

दूसरी तरफ, बुधवार से शुरू हो रही भारतीय रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समित‍ि की बैठक पर भी फॉरेक्स मार्केट की नजर है. इस मीटिंग में आरबीआई रुपये को सहारा देने के लिए ब्याज दरों में बढ़ोतरी कर सकता है.

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