पितृ पक्ष का आरम्भ होने में कुछ ही समय बाकी है. जी दरअसल यह आने वाले सितंबर के महीने में 2 सितंबर से शुरू हो रहा है. ऐसे में आज हम आपको बताने जा रहे हैं पितृ पक्ष का महत्व और पितृ पक्ष 2020 श्राद्ध लिस्ट. आइए बताते हैं.

जानें पितृ पक्ष का महत्व – ब्रह्म वैवर्त पुराण के अनुसार देवताओं को प्रसन्न करने से पहले मनुष्य को अपने पूर्वजों को प्रसन्न करना चाहिए. कहा जाता है पितृ दोष को सबसे जटिल कुंडली दोषों में से एक माना जाता है. वहीँ पितरों की शांति के लिए हर साल भाद्रपद शुक्ल पूर्णिमा से अश्विन कृष्ण अमावस्या तक के काल को पितृ पक्ष श्राद्ध होते हैं. कहा जाता है इस दौरान कुछ समय के लिए यमराजा पितरों का आजाद करते हैं वह भी इसलिए ताकि वह अपने परिजनों से श्राद्ध प्राप्त कर सके.
इसके अलावा ऐसा भी माना जाता है कि जिस घर के पितृ अपने परिवार के लोगों से खुश नहीं होते हैं उस घर के लोगों को देवी देवताओं का आर्शीवाद भी नहीं प्राप्त होता है. वहीँ शास्त्रों के मुताबिक़ जिन लोगों को पितृ उनसे प्रसन्न नहीं होते हैं उन्हें पितृ दोष का श्राप भी मिल जाता है. ऐसा माना जाता है कि जिस घर में पितृ दोष का श्राप लगता है उस घर के सदस्य कभी भी सुखी नहीं रहते हैं और न हीं वह जीवन में सफलता प्राप्त कर पाते हैं. इस वजह से पितृ पक्ष में पितरों का तर्पण किया जाता है और उनसे क्षमा मांगी जाती है.
पितृ पक्ष 2020 श्राद्ध लिस्ट – पहला श्राद्ध (पूर्णिमा श्राद्ध) 1 सितंबर 2020 को, दूसरा श्राद्ध 2 सितंबर को, तीसरा श्राद्ध 3 सितंबर को, चौथा श्राद्ध 4 सितंबर को, पांचवा श्राद्ध 5 सितंबर को, छठा श्राद्ध 6 सितंबर को, सातवां श्राद्ध 7 सितंबर को, आंठवा श्राद्ध 8 सितंबर को, नवां श्राद्ध 9 सितंबर को, दसवां श्राद्ध 10 सितंबर को, ग्यारवहां श्राद्ध 11 सितंबर कोस बारहवां श्राद्ध 12 सितंबर को, तेरहवां श्राद्ध 13 सितंबर को, चौदवहां श्राद्ध 14 सितंबर को, पंद्रवहा श्राद्ध 15 सितंबर को, सोलहवा श्राद्ध 16 सितंबर को, सत्रवहां श्राद्ध 17 सितंबर को होगा.
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