टेस्ट क्रिकेट में भारत के उप-कप्तान अजिंक्य रहाणे का मानना है कि न्यूजीलैंड के खिलाफ अगले महीने दो टेस्ट मैचों की सीरीज में वेलिंगटन और क्राइस्टचर्च में चलने वाली हवाओं से निपटने की तैयारी करनी होगी. भारतीय टीम वेलिंगटन में 21 से 25 फरवरी और क्राइस्टचर्च में 29 फरवरी से चार मार्च तक दो टेस्ट खेलेगी. इससे पहले पांच टी-20 और तीन वनडे खेले जाएंगे.
रहाणे ने कहा, ‘हमने वहां 2014 में भी खेला था. वहां मंद-मंद हवाएं चलती हैं. हालात के अनुरूप ढलना काफी अहम होगा.’ उन्होंने कहा, ‘पिछले दौरे पर मैंने वेलिंगटन में खेला था, लेकिन क्राइस्टचर्च में हम लंबे समय बाद खेलेंगे.’ रहाणे खास तौर पर बायें हाथ के तेज गेंदबाज नील वेगनेर को खेलने का अभ्यास कर रहे हैं.
रहाणे ने प्रेस ट्रस्ट से कहा, ‘वेगनेर ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ हाल ही में बेहतरीन प्रदर्शन किया है. आप सिर्फ एक नाम नहीं ले सकते. बल्लेबाजी यूनिट के तौर पर आपको सभी का सम्मान करना होगा. मेजबान टीम को हालात की बखूबी जानकारी होगी लेकिन हमें अपना स्वाभाविक खेल दिखाना होगा.’
रहाणे ने कहा, ‘अलग-अलग तरह की गेंदबाजी से निपटने के अलग तरीके हैं. हर किसी का अपना तरीका है. कुछ खिलाड़ी क्रीज के बाहर रहना पसंद करते हैं और कुछ क्रीज के भीतर.’ उन्होंने कहा कि न्यूजीलैंड में शरीर के पास खेलना काफी अहम होगा. रहाणे ने कहा, ‘आपको बेसिक्स पर ध्यान देना होगा. तकनीक के बारे में ज्यादा नहीं सोच सकते. शरीर के एकदम करीब खेलना जरूरी है. रफ्तार और गति बिल्कुल अलग तरह की होगी.’
2014 में न्यूजीलैंड से हारने वाली भारत की टीम काफी युवा थी, लेकिन तब से अब तक काफी कुछ बदल गया है. रहाणे ने कहा ,‘ उस समय न्यूजीलैंड में पहली बार युवा टीम गई थी. हमने उस सीरीज से काफी कुछ सीखा और नंबर वन बनने के हमारे सफर की शुरुआत हुई. हम उस समय टेस्ट रैंकिंग में छठे और सातवें स्थान पर थे.’ उन्होंने ड्रेसिंग रूम में बेहतरीन माहौल बनाने का श्रेय विराट कोहली और रवि शास्त्री को देते हुए कहा कि इससे भी काफी मदद मिली.