बीते पांच माह से शहरवासियों को प्याज रुला रहा है। अक्टूबर-नवंबर तक हुई बारिश के कारण स्टॉक में रखी प्याज सड़ने व महाराष्ट्र में बेमौसम बारिश होने से नवंबर में नासिक से नया प्याज नहीं आने से 100 से 120 रुपये प्रति किलो तक पहुंचा।
आज भी एक नंबर का अच्छा प्याज 40 रुपये से कम नहीं हो रहा है। इससे आम लोगों को फुटकर में महंगा प्याज खरीदना पड़ रह है। फरवरी-2019 में 10 से 15 रुपये प्रति किलो फुटकर में मिलने वाला प्याज फरवरी-2020 में 40 रुपये किलो के हिसाब से खरीदना पड़ा रहा है।
प्याज के थोक विक्रेताओं के मुताबिक महंगे प्याज से निजात दिलाने के लिए केंद्र सरकार ने तुर्की, इजराइल व आफगास्तिान से प्याज आयात की।
इससे शहर की करोंद सब्जी मंडी में प्याज की आवक बढ़ी और जनवरी से प्याज के दाम 60 प्रतिशत तक कम हो गए और अच्छा प्याज 40 रुपए प्रति किलो लोगों को मिलने लगा।
अब इससे कम प्याज कम नहीं हो रहा है, क्योंकि अभी भोपाल, सीहोर, होशंगाबाद, विदिशा सहित आसपास के जिलों से नई प्याज का आना शुरू नहीं हुआ है। मार्च-अप्रैल में नई प्याज की आवक शुरू होने से अच्छे प्याज के दाम 10 से 15 रुपए प्रति किलो तक आने की उम्मीद है।