भारत से ही भर रहा अमेरिका का खजाना, फिर भी ट्रंप हैं कि मानते नहीं

अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हाल के दिनों में एक ऐसा दावा किया जिसपर यकीन करना ही मुश्किल हो गया। ट्रंप ने कहा कि भारत रूस से तेल आयात पर रोक लगाने का विचार कर रहा है। इस कदम को अमेरिकी राष्ट्रपति ने सही कदम ठहराया था। हालांकि, भारत ने स्पष्ट किया कि रूस से तेल का आयात जारी रहेगा।

इस बीच एनर्जी इंपोर्ट को लेकर एक बड़ी जानकारी सामने आई है। जिसे जानने के बाद डोनाल्ड ट्रंप को राहत मिल सकती है। दरअसल, पिछले कुछ महीनों में भारत ने अमेरिका से एनर्जी इंपोर्ट को काफी बढ़ा दिया है। माना जा रहा है कि ये कदम दोनों देशों के बीच ट्रेड बैलेंस की स्थिति बनाने की कोशिश के तौर पर है।

रिपोर्ट में सामने आई जानकारी
समाचार एजेंसी एएनआई ने एक सूत्र के हवाले से बताया कि डोनाल्ड ट्रंप के अमेरिका के दूसरी बार राष्ट्रपति बनने के बाद से भारत ने संयुक्त राज्य अमेरिका से अपने कच्चे तेल के आयात में काफी वृद्धि की है।

पिछले कुछ वर्षों की अपेक्षा ये आयात आधे से भी अधिक बढ़ा है। माना जा रहा है कि यह वृद्धि भारत की ऊर्जा खरीद रणनीति में एक महत्वपूर्ण बदलाव को दर्शाती है।

क्या कहते हैं आंकड़ें?
रिपोर्ट में बताया गया कि जनवरी से जून के बीच में अमेरिका से कच्चे तेल का आयात 51 प्रतिशत तक बढ़ा है। माना जा रहा है कि फरवरी में जब पीएम मोदी और डोनाल्ड ट्रंप की मुलाकात हुई थी, इसी के बाद से ये उल्लेखनीय बढ़ोतरी हुई है। पीएम मोदी ने जब यूएस का दौरा किया था, उस समय भारत ने अमेरिकी ऊर्जा आयात को 15 अरब डॉलर से बढ़ाकर 25 अरब डॉलर करने की बात कही थी।

अमेरिका से तेल आयात में भारी बढ़ोतरी
सामने आए आंकड़े बताते हैं कि वित्त वर्ष 2025-26 की पहली तिमाही में भारत का अमेरिका से कच्चे तेल का आयात 114 प्रतिशत से बढ़कर करी 3.7 अरब डॉलर पहुंच गया है। ध्यान देने वाली बात है कि पिछले साल की इसी अवधि के बीच ये 1.73 अरब डॉलर था। बता दें कि ये रफ्तार इस साल जुलाई में और बढ़ी, जब अमेरिका से कच्चे तेल का आयात जून की तुलना में 23 प्रतिशत अधिक रहा।

LPG और LNG के आयात में भी भारी उछाल
केवल कच्चे तेल का इंपोर्ट नहीं, बल्कि बढ़ा हुआ व्यापार कच्चे तेल के अलावा अन्य ऊर्जा उत्पादों तक भी फैला हुआ है। रिपोर्ट्स के अनुसार, अमेरिका से भारत का तरलीकृत पेट्रोलियम गैस (एलपीजी) और तरलीकृत प्राकृतिक गैस (एलएनजी) का आयात भी तेज़ी से बढ़ा है।

बता दें कि वित्त वर्ष 2024-25 में एलएनजी आयात 2.46 अरब डॉलर तक पहुंच गया। जो पिछले साल के 1.41 अरब डॉलर से करीब दोगुना है। इसमें करीब 100 प्रतिशत की वृद्धि देखने को मिली।

गौरतलब है कि एनर्जी इंपोर्ट में ये उछाल ऐसे समय पर आया है, जब दोनों देश अपने व्यापक संबंधों को लेकर आशावाद व्यक्त कर रहे हैं। हाल में ही भारत के विदेश मंत्रालय ने विश्वास व्यक्त किया कि वैश्विक अनिश्चितताओं के बावजूद द्विपक्षीय संबंध मजबूत होते रहेंगे।

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com