प्रेमी से शादी करने की चाह में अपने परिवार के 7 सदस्यों की निर्मम हत्या करने वाली शबनम इस वक्त अपनी फांसी को रोकने की गुहार लगा रही है। उसकी इस गुहार को लेकर अब भगवान राम की नगरी अयोध्या से भी आवाज उठने लगी है। महंत परमहंस दास ने राष्ट्रपति से शबनम की फांसी को रोकने की अपील की है।
महंत परमहंस दास ने कहा कि हिंदू शास्त्रों में नारी का स्थान पुरूषों से काफी ऊपर है। इसलिए किसी भी नारी को मृत्य दंड देना सही नहीं है। अगर किसी भी महिला के साथ ऐसा व्यवहार किया जाता है तो ये काफी दुर्भाग्य की बात है और ऐसा होने से हम कई आपदोओं का न्यौता दे रहे हैं। नारी को मृत्युदंड देकर समाज का भला नहीं होगा। शबनम का अपराध माफ करने योग्य नहीं लेकिन मैं राष्ट्रपति से अपील करता हूं कि वो उसे नारी होने के नाते माफ कर दे।
शबनम की फांसी रोकने की अपील करते हुए महंत परमहंस ने कहा कि हिंदू धर्म गुरू होने के नाते मैं राष्ट्रपति से अपील करता हूं कि शबनम की याचिका को स्वीकार कर लें। उन्होंने आगे कहा कि शबनम अपना प्रायश्चित कर चुकी है। देश राष्ट्रपति को कुछ शक्तियां देता है जिसका उपयोग करते हुए उन्हें शबनम को मांफ कर देना चाहिए।
बता दें कि भारत को आजादी मिलने के बाद आज सात दशक से भी ज्यादा समय हो गया है मगर अभी तक किसी महिला कैदी को फांसी की सजा नहीं हुई है। पहली बार अब मथुरा (Mathura) की जेल को इसके लिए तैयार किया जा रहा है ताकि अमरोहा की रहने वाली शबनम (shabnam) को मौत की सजा दी जाए। इसके लिए पवन जल्लाद से जेल का मुआयना करा लिया गया है। इसके लिए पवन दो बार निरीक्षण भी कर चुके हैं।
बता दें आज तक किसी महिला कैदी को फांसी की सजा नहीं दी गई मगर इस बार अमरोहा की रहने वाली शबनम नाम की महिला को जिला अदालत से लेकर सु्प्रीम कोर्ट और फिर राष्ट्रपति ने भी फांसी देने के लिए हां कर दी है। उनकी सजा को किसी ने भी कम नहीं किया है। बता दे शबनम ने साल 2008 में अपने प्रेमी के साथ मिलकर अपने परिवार के आठ लोगों की कुल्हाड़ी से काटकर हत्याकर दी थी। उन्होंने बहुत ही बेर्शमी और बेरहमी से इस घटना को अंजाम दिया था।