इसे कोविड की पाबंदियों का असर कहें या यूरोपीय यूनियन (ईयू) से अलगाव का सबब, ब्रिटेन से स्पेन जा रहे लोगों को आवश्यक दस्तावेज न होने के कारण रोक दिया गया है। ब्रिटेन औपचारिक रूप से 31 दिसंबर को ईयू से अलग हुआ है। इससे पहले ब्रिटेन और स्पेन ईयू के सदस्य देश थे, उनके नागरिकों पर वीजा आदि की औपचारिकताएं लागू नहीं होती थीं। करीब तीन लाख ब्रिटिश नागरिकों के पास स्पेन में स्थायी निवास का अधिकार है।
ब्रेक्जिट (ईयू से ब्रिटेन के अलगाव) से पूर्व ये लोग बिना अनुमति के कभी भी स्पेन जा और सकते थे या वहां रह सकते थे। लेकिन अब हालात बदल गए हैं। अब एयरलाइन कंपनियां ऐसे ब्रिटिश नागरिकों से उन दस्तावेजों की दरकार कर रही हैं जो आमतौर पर विदेशियों से प्राप्त किए जाते हैं। इसके चलते तमाम ब्रिटिश नागरिक ब्रिटेन से स्पेन नहीं जा पा रहे हैं। इन नागरिकों के पास स्पेन की नागरिकता का कोई स्थायी दस्तावेज नहीं है। इसके चलते वे अब बिना वीजा के स्पेन की यात्रा नहीं कर सकते।
ईयू की नागरिकता का हरे रंग का प्रमाण पत्र ब्रिटेन के लोगों के लिए 31 दिसंबर को रद हो चुका है। इसी प्रमाण पत्र के जरिये ईयू के 28 देशों के नागरिक बेरोक-टोक एक-दूसरे के देश में जाते-आते रहते थे। लेकिन एक जनवरी से ब्रिटिश नागरिकों के लिए हालात बदल गए हैं। पैट्रिशिया मूडी (69) उन नौ सदस्यीय यात्रियों के दल में शामिल हैं जिन्हें शनिवार को लंदन के हीथ्रो एयरपोर्ट पर मैड्रिड के लिए रवाना होने से रोक दिया गया। वह बीते चार साल से दक्षिण स्पेन के जुरगेना के अपने घर में रह रही थीं।
पिछले दिनों वह ब्रिटेन आई थीं लेकिन अब वापस जाने में रुकावट पैदा हो गई है। मूडी को स्पेन में अपने पति को डॉक्टर को दिखाना है लेकिन वह तय कार्यक्रम के अनुसार उन्हें नहीं दिखा पाएंगी। उन्होंने 1,900 पाउंड (1.90 लाख रुपये) खर्च कर यात्रा पूर्व का अपना कोरोना टेस्ट कराया, उसके भी बेकार जाने का अंदेशा है।