बारिश का कहर: पठानकोट में दो बच्चों की मौत, स्कूल-कॉलेज बंद, 8 जिलों में खतरा

मूसलाधार बारिश के कारण बांधों का जलस्तर खतरे के निशान की तरफ बढ़ता जा रहा है। इस वजह से भाखड़ा, पौंग, रणजीत सागर डैम से हजारों क्यूसेक पानी रोजाना सतलुज, ब्यास और रावी में छोड़ा जा रहा है। इस वजह से पंजाब के आठ जिलों पठानकोट, कपूरथला, मोगा, तरनतारन, फाजिल्का, फिरोजपुर, अमृतसर और होशियारपुर में हालात खराब होते जा रहे हैं।

सोमवार को ब्यास में करीब एक लाख क्यूसेक पानी छोड़ा गया। बॉर्डर एरिया के सैकड़ों गांव और घरों में पानी घुस गया है। हजारों एकड़ भूमि जलमग्न हो गई है। फसलों का काफी नुकसान हुआ है। सड़कें बह जाने की वजह से यातायात प्रभावित हुआ है। पठानकोट के शाहपुरकंडी क्षेत्र स्थित रणजीत सागर झील में सोमवार को जलस्तर 526 मीटर पर पहुंच गया। भारी बारिश के अलर्ट की वजह से डैम प्रशासन ने सोमवार सुबह 9:30 बजे डैम के सातों गेट एक मीटर तक खोल रावी दरिया में 80 हजार क्यूसेक पानी छोड़ा। पानी छोड़ने की वजह से आसपास के इलाके डूब गए। एक परिवार के चार लोग जंगल क्षेत्र में फंस गए जिन्हें बचाव दल ने रेस्क्यू किया।

पठानकोट में दो बच्चों की मौत
पठानकोट वासियों के लिए बारिश कहर बनकर टूटी है। सोमवार को दो अलग-अलग जगह पानी में बह जाने से दो बच्चों की मौत हो गई। एक छह साल का बच्चा साहिल पैर फिसलने की वजह खड्ड में गिरकर तेज बहाव में बह गया, जिससे उसकी मौत हो गई। उसका शव कुछ दूरी पर झाड़ियों में फंसा मिला। शाहपुरकंडी क्षेत्र अधीन आते गांव कोट में नौवीं कक्षा के छात्र की पानी में डूबने से मौत हो गई। मृतक युवराज पुत्र गौतम चंद है।

पठानकोट-होशियारपुर के स्कूलों में छुट्टी
बाढ़ के कहर को देखते हुए डीसी आदित्य उप्पल ने पठानकोट के सभी स्कूलों और कॉलेजों समेत अन्य शिक्षक संस्थाओं में मंगलवार की छुट्टी घोषित की है। जिन स्कूलों में बोर्ड की परीक्षाएं और प्रेक्टीकल जारी हैं, उन पर यह आदेश लागू नहीं होंगे। होशियारपुर की डीसी आशिका जैन ने भी बारिश से बिगड़े हालातों को देखते हुए जिले के सभी सरकारी और निजी स्कूलों में दो दिन मंगलवार और बुधवार को अवकाश की घोषणा की है।

बाॅर्डर क्षेत्र में लोगों के घर डूबे
पठानकोट के बाॅर्डर क्षेत्र गांव पम्मा और ताश में कई लोगों के घरों में रावी दरिया का पानी आ गया जिससे घर का सामान बह गया है। पम्मा गांव के लोगों ने कहा कि बड़ी मुश्किल से उनके परिवार के सदस्याें की जान बची है। प्रशासन उनकी कोई मदद नहीं कर रहा। लोग भूख-प्यास से तड़प रहे हैं। दूसरी तरफ, धारकलां में हो रही लैंड स्लाइडिंग सरकारी स्कूलों और लोगों के घरों तक पहुंच चुकी है। चक्की खड्ड भी उफान पर होने के चलते रेल पुल खतरे में पहुंच चुका है।

पाकिस्तान की तरफ छोड़ा 1.40 हजार क्यूसेक पानी
हुसैनीवाला बैराज से 1,40,000 क्यूसेक पानी पाकिस्तान की तरफ छोड़ा गया है। अगर पाकिस्तान इस पानी को आगे जाने से रोकता है तो इसके वापस आने का खतरा है जिससे बाढ़ विकराल रूप धारण कर सकती है। ब्यास भी डेंजर मार्क तक पहुंच गई है, जिसमें 100,161 क्यूसिक पानी छोड़ा गया है। इस कारण सुल्तानपुर लोधी के 25 गांवों को भी अलर्ट पर रखा गया है।

मंत्री की अपील- सुरक्षित स्थानों पर जाएं लोग
पंजाब की कैबिनेट मंत्री डॉ. बलजीत कौर और फाजिल्का के विधायक नरिंदर पाल सिंह सवना सोमवार को बरसात के बीच राहत सामग्री लेकर गांव तेजा रुहेला और चक्क रुहेला पहुंचे। उन्होंने दुधारू पशुओं के लिए कैटल फीड भी वितरित की। डॉ. बलजीत कौर ने बताया कि पहाड़ों पर लगातार हो रही बारिश के चलते हरीके हेडवर्क्स से 1.7 लाख क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा है। इसका असर कल तक सतलुज क्रीक से गुजरते हुए फाजिल्का जिले में भी देखने को मिलेगा, जिससे पानी का स्तर और बढ़ सकता है। उन्होंने ग्रामीणों से अपील की कि महिलाएं, बच्चे और बुजुर्ग सुरक्षित स्थानों पर चले जाएं।

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