बसपा प्रमुख मायावती ने नफरती भाषणों और बॉयकॉट पर प्रतिक्रिया देते हुए भाजपा सरकार पर निशाना साधा है। इसके साथ राष्ट्रपति भवन के मशहूर मुग़ल गार्डेन का नाम बदलने को लेकर सरकार से सवाल किया। दरअसल, कई दिनों से राम चरित मानस पर विवादित बयानों पर राजनीतिक सरगर्मी तेज है। वहीं फिल्म पठान का बायकाट प्रकरण चल रहा है। इस पर मायावती ने सोमवार को ट्वीट किया।
मायावती ने लिखा कि कुछ मुट्ठीभर लोगों को छोड़कर देश की समस्त जनता जबरदस्त महंगाई, गरीबी व बेरोजगारी आदि के तनावपूर्ण जीवन से त्रस्त है लेकिन इसके निदान पर ध्यान केन्द्रित करने के बजाय धर्मान्तरण, नामान्तरण, बायकाट व नफरती भाषणों आदि के जरिए लोगों का ध्यान बांटने का प्रयास घोर अनुचित व अति-दुःखद।
मायावती ने कहा कि ताज़ा घटनाक्रम में राष्ट्रपति भवन के मशहूर मुग़ल गार्डेन का नाम बदलने से क्या देश व यहां के करोड़ों लोगों के दिन-प्रतिदिन की ज्वलन्त समस्यायें दूर हो जाएंगी। वरना फिर आम जनता इसे भी सरकार द्वारा अपनी कमियों व विफलताओं पर पर्दा डालने का प्रयास ही मानेगी।
इससे पहले मायावती ने शानिवार को अलग-अलग ट्वीट कर अडानी समूह पर हिंडनबर्ग की रिपोर्ट को लेकर सरकार को घेरते हुए कई सवाल उठाए । मायावती ने कहा कि इस रिपोर्ट से शेयर बाजार पर बहुत बुरा असर पड़ा है। यह मामला लोगों की गाढ़ी कमाई से जुड़ा है जबकि सरकार चुप है। एक ट्वीट में मायावती ने कहा कि देश में पिछले दो दिनों से गणतंत्र दिवस से ज्यादा प्रमुख अडानी उद्योग ग्रुप के संबंध में अमेरिकी फर्म हिंडनबर्ग की आई निगेटिव रिपोर्ट से शेयर बाजार पर व्यापक बुरा प्रभाव आदि काफी चर्चाओं में है। सरकार चुप है जबकि देश के करोड़ों लोगों की गाढ़ी कमाई उससे जुड़ी हुई है।