यूक्रेन पर हमला बोलकर (Russian invasion of Ukraine) पूरी दुनिया के निशाने पर आए रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (Vladimir Putin) को लेकर रूसी खुफिया एजेंसी के एक पूर्व अधिकारी ने बड़ा दावा किया है. इस एक्स KGB ऑफिसर का कहना है कि पुतिन की सेहत (Putin Health) अच्छी नहीं है और बतौर लीडर उनका करियर खत्म होने वाला है.
पुतिन के साथ ली थी ट्रेनिंग
‘डेली स्टार’ की रिपोर्ट के अनुसार, किसी जमाने में रूसी खुफिया एजेंसी KGB के लिए व्लादिमीर पुतिन के साथ ट्रेनिंग लेने वाले विक्टर मकारोव (Viktor Makarov) का कहना है कि रूस के राष्ट्रपति के रूप में पुतिन का करियर अपने अंतिम पड़ाव पर है. उनका दावा है कि पुतिन की सेहत अच्छी नहीं है, ऐसे में उनके लिए ज्यादा समय तक देश की बागडोर संभालना संभव नहीं होगा.
प्रेसिडेंट की हेल्थ को लेकर कई दावे
व्लादिमीर पुतिन (Vladimir Putin) की सेहत को लेकर पहले भी कई तरह की बातें सामने आ चुकी हैं. एक रिपोर्ट में कहा गया है कि पुतिन कैंसर (Cancer) से जूझ रहे हैं. वहीं, एक अन्य रिपोर्ट में दावा किया गया था कि पुतिन मनोवैज्ञानिक अस्थिरता की स्थिति से गुजर रहे हैं. अब KGB के पूर्व अधिकारी ने भी काफी हद तक इन खबरों पर मुहर लगा दी है.
‘जैसे दिखते हैं, वैसे हैं नहीं पुतिन’
विक्टर मकारोव ने सोवियत यूनियन के जमाने में व्लादिमीर पुतिन के साथ KGB के अधिकारी के रूप में ट्रेनिंग ली थी. बाद में दोनों की राह अलग हो गई. पुतिन आंतरिक संचालन में विशेषज्ञता हासिल करके राजनीतिक विरोधियों की निगरानी के काम में जुट गए और विक्टर ने फॉरेन इंटेलिजेंस का काम संभाला. विक्टर ने कहा, ‘पुतिन जैसे दिखते हैं, वैसे हैं नहीं. लेकिन मैं इतना जरूर कह सकता हूं, उनका स्वास्थ्य अच्छा नहीं है. मेरी राय में पुतिन का करियर खत्म होने वाला है’.
‘Ukraine को नहीं हरा पाएगा रूस’
पूर्व KGB अधिकारी ने यह भी कहा कि जंग में यूक्रेन हारने वाला नहीं है. उन्होंने कहा कि जहां तक युद्ध का सवाल है तो मौजूदा स्थितियों को देखकर यह कहना गलत नहीं होगा कि रूस यूक्रेन को हरा नहीं सकता. विक्टर मकारोव ने कहा, ‘रूस स्पष्ट रूप से फंस गया है, वह जीतने में असमर्थ है. युद्ध और लंबा खिंच सकता है, लेकिन पश्चिम के हथियारों की मदद से यूक्रेन की तरफ से रूस को कड़ी टक्कर मिलती रहेगी और वो शायद मॉस्को को पीछे भी धकेल देगा’. उन्होंने यह भी कहा कि रूस पर जो कड़े प्रतिबंध लगाए गए हैं, उसका खामियाजा देश को भुगतना पड़ेगा.