कोरोना से दुनिया की रफ्तार इस साल काफी धीमे नजर आई. लेकिन दुनिया की स्पेस एजेंसियों ने अंतरिक्ष की दुनिया में इस साल बड़े-बड़े कारनामे कर दिखाए हैं. हालही में जापान ने लकड़ी का सैटेलाइट लॉन्च करने की घोषणा की है. जो की काफी हैरतअंगेज हैं. जापान के मुताबिक इस सैटेलाइट के जरिए अंतरिक्ष के प्रदूषण को रोका जा सकेगा. इस सैटेलाइट को इको-फ्रेंडली भी कहा जा रहा है. जिसे 2023 में लाने की योजना हैं. यहां जानिए इस सैटेलाइट को बनाने का मकसद क्या है.

लकड़ी का सैटेलाइट क्यों ? दरअसल जापान के दो समूह क्योटो यूनिवर्सिटी और सुमिटोमो फॉरेस्ट्री अंतरिक्ष में पेड़ों के विकास और लकड़ी के सामानों पर रिसर्च कर रहे हैं. जहां लकड़ी के सैटेलाइट के जरिए स्पेस में कम से कम प्रदूषण करने का उद्देश्य है. माना जाता है कि जापान पर्यावरण को लेकर हमेशा ही संवेदनशील रहा है. लकड़ी से बना सैटेलाइट जब धुरी से हटता है या वापस धरती पर लौटता है तो धरती के वातारण को छूते ही नष्ट हो जाता है. जिससे कोई प्रदूषण नहीं होता और वातावरण को कोई नुकसान नहीं होता है.
जापान के दो समूह क्योटो यूनिवर्सिटी और सुमिटोमो फॉरेस्ट्री ने इस सैटेलाइट को तीन साल बाद यानि 2023 में लाने की योजना बनाई है. जिसकी दोनों समूहों ने हालही में एक संयुक्त घोषणा की है. जिसका अगला चरण 2024 में होगा जहां जापान के दोनों समूह ब्रम्हांड में लकड़ी से बने अन्य निर्माण कार्य करेगा जिसमें स्पेस सेंटर जैसे निर्माण शामिल हैं. अगर ऐसा होता है तो जापान स्पेस की दुनिया में लकड़ी से बना सैटेलाइट लॉन्च करने वाला पहला देश होगा.
जापान का ये कदम प्रदूषण को रोकने के लिहाज से काफी अहम माना जा रहा है. अमेरिकी स्पेस एजेंसी नासा के मुताबिक अंतरिक्ष में लगभग 6 हजार टन मलबा भ्रमण कर रहा है. अंतरिक्ष में मानव-निर्मित चीजें जमा हो गई हैं. जिनमें खराब और पुराने सैटेलाइटों का कबाड़ है. जो सालों से घूम रहा है. जिनका प्रभाव सही से काम कर रहे सैटेलाइटों पर पड़ सकता है.
Live Halchal Latest News, Updated News, Hindi News Portal