पंजाब में धड़ल्ले से जलाई जा रही गेहूं की नाड़, आसपास के राज्यों की हवा बिगड़ी

पंजाब में गेहूं की नाड़ जलाने के मामले लगातार बढ़ रहे हैं हालांकि बीते दो सालों की अपेक्षा इस बार अब तक नाड़ जलाने के मामले अपेक्षाकृत काफी कम हैं। 2022 में अब तक नाड़ जलाने के 14,182 और 2023 में 10,065 मामले रिपोर्ट हुए थे। 

पराली के बाद अब पंजाब के किसान गेहूं की नाड़ को जलाकर पड़ोसी राज्यों की आबोहवा को खराब करने में लगे हैं। सेटेलाइट के जरिये प्राप्त आंकड़ों के मुताबिक एक अप्रैल से 16 मई तक पंजाब के खेतों में गेहूं की नाड़ जलाने के कुल 8500 मामले सामने आ गए हैं। कुल मामलों में से 95 फीसदी पिछले 12 दिनों के हैं।

माहिरों के मुताबिक अगर यही रफ्तार रही तो आने वाले दिनों में इन मामलों में बड़ा इजाफा देखा जा सकता है। सेटेलाइट के जरिये इन मामलों की मॉनिटरिंग 31 मई तक की जाएगी।

वहीं, नाड़ जलाने के मामलों में वृद्धि के साथ ही पड़ोसी राज्यों की हवा की गुणवत्ता बेहद खराब होने लगी है। इस वजह से लोगों का सांस लेना दूभर हो गया है। गौरतलब है कि पराली जलाने को लेकर सुप्रीम कोर्ट पंजाब सरकार को कई बार फटकार चुकी है। वहीं एनजीटी ने पंजाब पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड (पीपीसीबी) से ऐसी घटनाओं पर रोक लगाने के लिए एक्शन प्लान मांगा था। राज्य सरकारें पॉल्यूशन कंट्रोल और नाड व पराली की घटनाओं पर काबू पाने के लिए कितनी गंभीर हैं, इन मामलों ने उसकी पोल खोल दी है।

गुरदासपुर में एक हजार से ज्यादा मामले
नाड़ जलाने के सबसे ज्यादा 1020 मामले गुरदासपुर से रिपोर्ट हुए हैं। कुल मामलों में 65% दो ही दिन में दर्ज हुए हैं। 15 मई को 529 और 16 मई को 143 केस सामने आए हैं। वहीं, तरनतारन में 769, फिरोजपुर में 750, अमृतसर में 678, मोगा में 504 और सीएम भगवंत मान के हलके संगरूर में 477 मामले सामने आ चुके हैं।

लुधियाना-मंडी गोबिंदगढ़ की हवा हुई खराब
गेहूं की नाड़ जलाने से लुधियाना, मंडी गोबिंदगढ़, चंडीगढ़ और पंचकूला और राजधानी दिल्ली का एयर क्वालिटी इंडेक्स (एक्यूआई) खराब श्रेणी में पहुंच गया है। पटियाला, अमृतसर, जालंधर समेत बाकी प्रमुख शहरों का एक्यूआई मध्यम श्रेणी में है। एक्यूआई का बढ़ना खास तौर से दिल के मरीजों, फेफड़ों व दमा के मरीजों के लिए घातक है। उन्हें सांस लेने में तकलीफ हो सकती है। डाक्टरों के मुताबिक जहां एक्यूआई खराब श्रेणी में है, वहां लोगों को ज्यादा देर तक बाहर नहीं रहना चाहिए। विभाग के अनुसार मंडी गोबिंदगढ़ में 226, लुधियाना में 211, चंडीगढ़ में 204, पंचकूला में 211 एक्यूआई दर्ज किया गया।

नाड़ जलाने वालों पर लगेगा जुर्माना : आदर्शपाल
पीपीसीबी के चेयरमैन डॉ. आदर्शपाल विग ने कहा कि जिन खेतों में गेहूं की नाड़ को आग लगाई जा रही है, उनके मालिकों की पहचान की जा रही है। तय कानून के मुताबिक उनपर जुर्माने लगाए जाएंगे व पर्चे भी दर्ज किए जा सकते हैं।

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