पंजाब के जिन इलाकों में रोजाना कोरोना के 100 से अधिक मामले सामने आ रहे हैं, उन इलाकों को कंटेंनमेंट जोन घोषित किया जाएगा। यह बात स्वास्थ्य मंत्री बलबीर सिंह सिद्धू ने कही। उन्होंने कहा कि फिलहाल राज्य में कोरोना महामारी को लेकर हालात नियंत्रण में हैं और स्वास्थ्य विभाग इस महामारी का फैलाव रोकने के लिए सभी जरूरी कदम उठा रहा है। मंत्री ने सूबे में लॉकडाउन लगाए जाने की आशंका का सिरे से खंडन किया और लोगों से प्रतिबंधों का पालन कर सरकार को सहयोग देने की अपील की।
स्वास्थ्य मंत्री बलबीर सिंह सिद्धू ने बताया कि राज्य के कई जिलों में प्रतिदिन 100 से अधिक नए मामले आ रहे हैं। हालांकि इन जिलों में नाइट कर्फ्यू समेत सभी कड़े कदम उठाए गए हैं। फिर भी संबंधित इलाकों को कंटेंनमेंट जोन बनाकर वहां के बाशिंदों की कोरोना जांच की तैयारी की जा रही है।
दोबारा लॉकडाउन की आशंका पर उन्होंने कहा कि पिछले कोरोना काल में लोगों ने काफी अधिक मुश्किल हालात देखे हैं। इसलिए सरकार की कोशिश है कि सख्त कदम उठाते हुए इस महामारी का फैलाव रोका जाए। उन्होंने उम्मीद जताई कि कर्फ्यू और सामाजिक आयोजनों पर पाबंदी जैसे उपाय कोरोना का फैलाव रोकने में कारगर साबित होंगे।
स्वास्थ्य मंत्री ने साफ किया कि विभाग के पास कोरोना से निपटने के लिए सभी तरह के प्रबंध हैं और पर्याप्त स्टाफ उपलब्ध है। फिलहाल हालात नियंत्रण में है। हालात के बारे में मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह पल-पल की जानकारी ले रहे हैं और विभाग को लगातार दिशा-निर्देश दे रहे हैं।
उधर, शिरोमणि अकाली दल ने कोरोना के फैलाव से निपटने में कैप्टन सरकार को असफल करार दिया। राज्य सरकार निजी अस्पतालों के कामकाज को नियमित करने में ही फेल रही है, जिसके कारण 69 फीसदी अस्पतालों ने टीका का पहला डोज भी अब तक किसी को नहीं दिया है। अकाली दल के उपाध्यक्ष डॉ. दलजीत सिंह चीमा ने कहा कि प्रदेश में कोरोना से मृत्यु की दर तीन फीसदी तक पहुंच गई है, जो कि पूरे देश में सबसे ज्यादा है। जबकि राज्य सरकार ने अब तक वेंटिलेटरों की संख्या बढ़ाने के बारे में कोई फैसला नहीं लिया है।