त्योहारी सीजन यात्रियों को टिकट न मिलने से परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। स्पेशल ट्रेनों में वेटिंग लिस्ट भी लोग घर जाने के लिए परेशान हैं। हालांकि, रेलवे जल्द ही इस समस्या का निदान करने जा रहा है। रेलवे बोर्ड के चेयरमैन वीके यादव का कहना है कि वेटिंग लिस्ट की समस्या को खत्म करने के लिए टिकटों की संख्या का विश्लेषण किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि सबसे व्यस्त रूट्स पर यानी वेटिंग लिस्ट वाले ट्रेनों के रूट पर और अधिक ट्रेनें भी चलाने की योजना पर विचार किया जा रहा है। डेटा के विश्लेषण के बाद इन मार्गों पर और ट्रेनें चलाई जा सकती हैं। यही नहीं, ट्रेनों में यात्रियों को कंफर्म सीट मिल सके इसके लिए क्लोन ट्रेन चलाने की भी संभावना है।
कुछ और रुटों पर जल्दी ही चलाई जाएंगी स्पेशल ट्रेनें
बोर्ड के चेयरमैन ने कहा कि आंकड़ों में भले ही 93 फीसद यात्रियों से भरी ट्रेनें चल रही हैं, लेकिन इसमें डेढ़ दर्जन से अधिक ट्रेनों में मात्र 30 फीसद यात्री ही चल रहे हैं। जबकि 44 ट्रेनों में मात्र 33 फीसद यात्री चल रहे हैं। 83 ट्रेनों की मात्र 75 फीसद सीटें भर पा रही हैं। लेकिन 327 स्पेशल ट्रेनों की शत प्रतिशत सीटें भरने के साथ लंबी प्रतीक्षा सूची बन रही है। इन्हीं ट्रेनों के प्रदर्शन को देखते हुए रेलवे इन रुटों पर क्लोन ट्रेनों के साथ अतिरिक्त स्पेशल ट्रेन चलाएगा। त्योहारी मांग को देखते हुए कुछ और रुटों पर जल्दी ही स्पेशल ट्रेनें चलाई जाएंगी।
ट्रेनों के नियमित संचालन को लेकर थमे रेलवे के कदम
भारतीय रेलवे नियमित ट्रेनों के संचालन की योजना तैयार कर चुका है, जिसके लिए राज्यों से लगातार विचार-विमर्श जारी है। लेकिन इसी बीच कोरोना के अचानक बढ़ते प्रकोप के चलते रेलवे के कदम थम गए हैं। भारतीय रेलवे बोर्ड के चेयरमैन वीके यादव ने बताया कि फिलहाल स्पेशल ट्रेनें 93 फीसद यात्रियों से भरी चल रही हैं। रेलवे सभी तरह की स्थितियों का दैनिक आधार पर आकलन कर रहा है। ट्रेनों के नियमित संचालन में रेलवे कोई जल्दबाजी से नहीं करना चाहता है।
स्पेशल ट्रेनें 93 फीसद यात्रियों से भरी चल रही
रेलवे बोर्ड के चेयरमैन (सीआरबी) सोमवार को पत्रकारों से वर्चुअल वार्ता कर रहे थे। उन्होंने एक सवाल के जवाब में उन्होंने बताया कि कोरोना काल के दौरान चल रही स्पेशल यात्री ट्रेनों से कुल 3322 करोड़ रूपए की आमदनी हुई है। यह आमदनी सामान्य समय के मुकाबले केवल 10 फीसद है। लेकिन यात्रियों की सुरक्षा सबसे अहम है। ट्रेनों के संचालन में राज्यों के रुख और उनकी सहमति बहुत जरूरी है। ट्रेन की यात्रा के लिए सभी के लिए कन्फर्म टिकट लेना अनिवार्य है। यादव ने बताया कि रेलवे की कोशिश है कि आगे भी सभी यात्रियों को कन्फर्म टिकट प्राप्त हो।
रेलवे में आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस का किया जाएगा व्यापक उपयोग
रेलवे अपने पूरे आपरेशन में व्यापक बदलाव करते हुए इसका दायित्व आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस को सौंपेगा। इसके लिए हैदराबाद में सेंटर आफ एक्सीलेंस स्थापित किया जा रहा है। यहां डेटा एनलसिस एंड आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस होगा, जिसके लिए पहले बैच में कुल 88 अधिकारियों को दो महीने की स्पेशल ट्रेनिंग दी गई है। इन्हें प्रत्येक जोन में तैनात किया जाएगा। इसके लिए और भी अफसरों का चयन किया जा रहा है। पैसेंजर, माल ढुलाई और टिकटिंग आदि के आपरेशन में इनका उपयोग किया जाएगा।