प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के अधिकारी अंकित तिवारी से जुड़े मामले को लेकर तमिलनाडु सतर्कता और भ्रष्टाचार निरोधक निदेशालय (डीवीएसी) के अधिकारियों ने मदुरै में ईडी उप-जोनल कार्यालय में शुक्रवार रात भर अपनी तलाशी जारी रखी।
ईडी अधिकारी अंकित तिवारी को शुक्रवार को डिंडीगुल जिले में एक डॉक्टर से 20 लाख रुपये की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़ा गया था। कुछ घंटे पहले, सीआरपीएफ कर्मी मदुरै में ईडी उप-जोनल कार्यालय भी पहुंचे थे, जहां डीवीएसी अधिकारी ईडी अधिकारी से जुड़े मामले के संबंध में तलाशी ले रहे थे।
डीएवीसी अधिकारियों के अनुसार, अंकित तिवारी ईडी अधिकारियों की अपनी टीम के साथ प्रवर्तन निदेशालय में मामले को बंद करने के नाम पर कई लोगों को धमकी दे रहे थे और रिश्वत ले रहे थे। डीवीएसी अधिकारियों ने उन्हें डिंडीगुल में 20 लाख रुपये नकद के साथ पकड़ा। डीवीएसी ने मदुरै में ईडी कार्यालय में भी तलाशी ली। डीएवीसी ने कहा, यह स्पष्ट करने के लिए जांच की जा रही है कि क्या उसने इस पद्धति को अपनाकर किसी अन्य अधिकारी को ब्लैकमेल किया या धमकी दी और ईडी के नाम पर धन एकत्र किया।
डीवीएसी चेन्नई द्वारा जारी एक आधिकारिक विज्ञप्ति के अनुसार, अंकित तिवारी केंद्र सरकार के मदुरै प्रवर्तन विभाग कार्यालय में एक प्रवर्तन अधिकारी के रूप में कार्यरत हैं। 1 नवंबर, 2023 की सुबह, V&AC के अधिकारियों ने अंकित तिवारी को शिकायतकर्ता से 20 लाख रुपये रिश्वत के रूप में लेने के बाद पकड़ लिया। इसके बाद उन्हें भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत सुबह 10.30 बजे गिरफ्तार कर लिया गया।
गहराई से की जा रही जांच
विज्ञप्ति में कहा गया है कि यह उल्लेख करना उचित है कि अधिकारियों ने उनके कदाचार के संबंध में कई आपत्तिजनक दस्तावेज जब्त किए हैं। इसमें कहा गया है कि यह स्पष्ट करने के लिए जांच की जा रही है कि क्या उसने इस कार्यप्रणाली को अपनाकर किसी अन्य अधिकारी को ब्लैकमेल किया या धमकी दी और प्रवर्तन निदेशालय के नाम पर धन एकत्र किया।
साजिश में अन्य ईडी अधिकारियों की संलिप्तता का पता लगाने के लिए भी जांच की जाएगी। इसके अलावा, वी एंड एसी के अधिकारी अंकित तिवारी के आवास और मदुरै में उनके प्रवर्तन निदेशालय कार्यालय पर तलाशी ले रहे हैं।