सेक्टर 109 से लेकर 115 तक की सोसाइटियाें, बजघेड़ा गांव, और न्यू पालम विहार में नहीं पहुंचा पानी, एक लाख लोग प्रभावित
गुरुग्राम। एक ओर शहर के लोग जल संकट से जूझ रहे हैं, वहीं लापरवाह कर्मियों और ठेके के काम के कारण पेयजल की लाइन टूटकर लाखों लीटर पानी की बर्बादी भी हो रही है।
बजघेड़ा के पास बिजली का केबल डाले जाने के कारण करीब दो मीटर नीचे लगी पेयजल की लाइन टूट गई। मंगलवार की रात पेयजल की लाइन टूटी मगर इसका पता लोगों को तब चला जब पानी रिस कर तार डालने वाली जगह पर भर गया। बिजली का केबल ट्रंचलेस तकनीक (बगैर खोदाई के धंसाने का तरीका) से नीचे बिछाया जा रहा था। चंदू बुढ़ेरा के ट्रीटमेंट प्लांट से पेयजल की मुख्य लाइन सीधी आती है, जिससे कॉलोनियों और सोसाइटियों की पेयजल की लाइन जुड़ी हैं।
इलाके के निवासियों का कहना है कि पेयजल की लाइन टूटने से फव्वारे की तरह पूरा पानी बर्बाद हो रहा है। यहां ठेकेदार के अप्रशिक्षित प्लंबर काम कर रहे हैं और वे समस्या को ठीक से समझ नहीं पा रहे हैं। मंगलवार की रात से लेकर शुक्रवार तक लाखों गैलन पानी बर्बाद हो गया। दूसरी ओर पिछले तीन दिनों से न्यू पालम विहार, साईकुंज, साहिब कुंज, बजघेड़ा गांव आदि और सेक्टर 109 से 115 तक की सोसाइटियों में रहने वाली करीब एक लाख लोगों तक नहरी पानी नहीं पहुंच रहा है। लोग टैंकर मंगा कर पानी का काम चला रहे हैं। सोसाइटियों में ट्यूबवेल के पानी का सहारा लिया जा रहा है।
न्यू पालम विहार के निवासी दिनेश यादव ने बताया कि न्यू पालम विहार की सघन आबादी वाले इलाके में पिछले दो दिनों से पानी नहीं आ रहा है। पानी के बिना काफी दिक्कत आ रही है। टैंकर मंगाने की भी एक सीमा है। लोग परेशान हो रहे हैं। साई कुंज के आरडब्ल्यूए अध्यक्ष राकेश राणा ने बताया कि मंगलवार की रात यह लाइन टूटी थी।
बुधवार और बृहस्पतिवार को इससे काफी पानी बर्बाद हुआ। कई शिकायतों के बाद इसकी मरम्मत करने के लिए शुक्रवार को कर्मचारी पहुंचे हैं। प्रशासन ऐसे मामलों को लेकर गंभीर नहीं है। इस जगह नगर निगम और जीएमडीए को प्रशिक्षित इंजीनियर भेजने चाहिए। साथ ही बिजली की लाइन डालने के काम में भी ठेके के लोगों के साथ विभाग के प्रशिक्षित इंजीनियरों को लगाया जाए ताकि आगे ऐसी घटना नहीं हो।