नए साल की दस्तक से पहले दुनिया में कोरोना वायरस से निपटने वाली वैक्सीन से जुड़ी अच्छी खबरें आ रही हैं. बुधवार को ब्रिटेन ने ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी की वैक्सीन को इजाजत दी और अब गुरुवार को चीन ने भी अपनी एक वैक्सीन को मंजूरी दे दी है.

चीन ने Sinopharm वैक्सीन को मंजूरी दे दी है, जिसे चीन की सरकारी मशीनरी की मदद से ही बनाया गया है. आम लोगों के इस्तेमाल के लिए चीन में पहली बार किसी वैक्सीन को मंजूरी दी गई है. अबतक चीन में कुछ वैक्सीन का बड़े स्तर पर ट्रायल चल रहा था, लेकिन अब मंजूरी मिल गई है.
हाल ही में Sinopharm वैक्सीन के ट्रायल के नतीजे सामने आए थे, जिसमें तीसरे फेज में इस वैक्सीन की सफलता 79 प्रतिशत थी. हालांकि, दुनिया में अबतक जिन फाइज़र, मॉर्डना और ऑक्सफोर्ड की वैक्सीन को मंजूरी मिली है, उनमें से चीनी वैक्सीन का सफलता रेट सबसे कम है.
चीन में कुल पांच वैक्सीन का ट्रायल चल रहा है, जो तीसरे फेज में ही है. इनमें से पहली वैक्सीन को आम लोगों के इस्तेमाल के लिए मंजूरी मिल गई है. गौरतलब है कि पिछले साल इसी वक्त के आसपास चीन के वुहान से ही कोरोना वायरस का संकट शुरू हुआ था, जिसने पूरी दुनिया में तबाही मचा दी.
गौरतलब है कि बुधवार को ब्रिटेन ने ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका की वैक्सीन को मंजूरी दे दी है. ब्रिटेन में पहले से ही फाइजर वैक्सीन का इस्तेमाल किया जा रहा है. ब्रिटेन में ऑक्सफोर्ड की वैक्सीन को मंजूरी मिलने के साथ ही भारत में भी वैक्सीन को लेकर उम्मीदें बढ़ गई हैं.
ऑक्सफोर्ड के साथ मिलकर ही भारत में सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया कोविशील्ड वैक्सीन बना रहा है, जिसके इस्तेमाल की मंजूरी मांगी गई है. ऐसे में उम्मीद की जा रही है कि जल्द ही देश में कोविशील्ड को मंजूरी मिल सकती है और फिर तेजी से वैक्सीनेशन का काम शुरू हो सकता है.
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