उत्तर भारत में किसान आंदोलन अपने चरम पर है। कृषि कानूनों के खिलाफ सड़कों पर उतरे किसानों का आंदोलन लगातार आठवें दिन जारी है। इस आंदोलन की आग लगातार फैलती जा रही है। विरोध में किसानों ने कई सड़कों को जाम कर दिया है। कई बॉर्डर अभी भी बंद हैं। इस बीच ऑस्ट्रेलिया में टीम इंडिया का हिस्सा क्रिकेटर शुभमन गिल का परिवार भी सड़कों पर उतर आया है।
क्रिकेटर गिल के परिवार के कुछ सदस्य सिंघु बॉर्डर भी पहुंचे है। ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ तीसरे और अंतिम वन-डे में शिखर धवन के साथ पारी का आगाज करते हुए 33 रन बनाने वाले गिल के दादा ने मीडिया से बात की। दीदार सिंह ने बताया कि टीवी पर पोते की बल्लेबाजी और किसान आंदोलन दोनों ही खबरें देख रहा था।
पंजाब के फजिका के निकट जलालाबाद के चक खेरे वाला गांव में रहने वाला शुभमन गिल का परिवार किसानी करता है। शुभमन के पिता लखविंदर सिंह ने मीडिया से बात करते हुए बताया कि, ‘मेरे पिता भी आंदोलन स्थल जाकर विरोध दर्ज करवाना चाहते थे, लेकिन उनकी उम्र को देखते हुए हमने उन्हें न जाने की प्रार्थना की। शुभमन भी जानते हैं कि यह आंदोलन किसानों के लिए कितना महत्वपूर्ण है’।
शुभमन के पिता कहते हैं, ‘उसका पूरा बचपन खेत, खलिहान और गांव में बीता है, उसने अपने परिवार को खेतों में काम करते देखा है, खुद उसे किसानी का शौक है। अगर वह क्रिकेटर नहीं होता तो एक किसान ही होता। शुभमन को अपने गांव से लगाव है, उसने खेतों में ही क्रिकेट खेलना सीखा। क्रिकेट करियर खत्म करने के बाद मेरा बेटा भी किसानी में उतर आएगा।’