अहमदाबाद में बच्चों महिलाओं और वरिष्ठ नागरिकों की सुरक्षा में सुधार के लिए गुजरात सरकार ने नया कदम उठाया है। शहर के 205 क्षेत्रों में आपातकालीन कॉल बॉक्स लगाए गए हैं। यह निर्भया सेफ सिटी परियोजना के तहत एक पहल है। लोग इमरजेंसी में कॉल बॉक्स में लगे बटन को दबा सकते हैं इसके बाद तुरंत पुलिस उनकी मदद के लिए पहुंच जाएगी।
गुजरात में महिलाओं, बच्चों और वरिष्ठ नागरिकों की सुरक्षा के लिए एक नई पहल की गई है। बता दें कि गुजरात में अहमदाबाद के कई इलाकों में आपातकालीन कॉल बॉक्स स्थापित किए गए। अहमदाबाद के विशेष पुलिस आयुक्त अजय कुमार चौधरी ने इसको लेकर जानकारी दी है, उन्होंने कहा, महिलाओं, बच्चों और वरिष्ठ नागरिकों की सुरक्षा के लिए हमने 205 क्षेत्रों में आपातकालीन कॉल बॉक्स लगाए हैं।
इस योजना का मुख्य उद्देश्य इमरजेंसी के वक्त तुंरत सहायता पहुंचाना है। पुलिस आयुक्त ने आगे बताया, वे इसे प्रेस कर सकते हैं, जिससे पुलिस कंट्रोल रूम के पास तुरंत वीडियो कॉल पहुंच जाएगी और इससे पुलिस मदद के लिए मौके पर पहुंच सकती है। यह ‘निर्भया सेफ सिटी’ परियोजना के तहत एक पहल है।
रोजाना आती हैं 50 कॉलें
यह टू वे कम्यूनिकेशन प्रोसेस है। केंद्र और राज्य सरकारों ने इसे फंडिंग दी है, पुलिस आयुक्त ने ये भी बताया, उन्हें प्रतिदिन 50 कॉलें आती हैं। गुजरात सरकार इससे पहले भी बच्चों की शिक्षा के लिए नए कदम उठा चुकी हैं।
गरीब बच्चों के लिए शुरू किया था अनोखा स्कूल
इससे पहले गुजरात सरकार ने मदरसों के आधुनिकरण के लिए बड़ा कदम उठाया था। राज्य सरकार के शिक्षा विभाग ने मदरसों में पढ़ने वाले सात हजार बच्चों को स्कूली शिक्षा देने का फैसला किया था। साथ ही गरीब बच्चों के लिए एक अनोखा स्कूल शुरू किया गया था। ये स्कूल सभी आधुनिक सुविधाओं से लैस था। स्कूल का खास उद्देश्य है कि सूरत में फुटपाथ पर रहने वाले सभी बच्चे शिक्षित हों। ये स्कूल एक बस में तैयार किया गया है।
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