त्योहार की भीड़ संभालने के लिए बड़े रेलवे स्टेशनों पर मिनी कंट्रोल रूम बनाए गए हैं। इसके जरिये रेलवे स्टेशनों पर उमड़ने वाली भीड़ और उसकी जरूरतों पर नजर रखी जाएगी। भीड़ प्रबंधन, यात्री सुविधा और सुरक्षा को लेकर निर्णय लेने में देर नहीं हो, इसके लिए कंट्रोल रूम में सभी विभागों के कर्मचारी तैनात किए गए हैं। साथ ही सीसीटीवी कैमरे से पूरे स्टेशन परिसर की निगरानी की जा रही है।
आम दिनों की तुलना में दिवाली व छठ के अवसर पर रेलवे स्टेशनों पर यात्रियों की भीड़ काफी बढ़ जाती है। भीड़ संभालना और सभी यात्रियों को सुरक्षित गंतव्य तक पहुंचाना रेल प्रशासन के लिए बड़ी चुनौती है। उत्तर रेलवे का कहना है कि त्योहार में सभी लोग सुरक्षित अपने घर पहुंच सकें, इसके लिए 1 से 15 नवंबर तक 2.28 लाख अतिरिक्त सीटों की व्यवस्था की हैं। एक सौ के करीब विशेष ट्रेनें चलाई जा रही हैं। नियमित ट्रेनों में अतिरिक्त कोच भी लगाए जा रहे हैं। रेलवे स्टेशनों पर भगदड़ नहीं मचे, इसके लिए विशेष प्रबंध किए जा रहे हैं।
स्टेशन निदेशकों को प्रस्थान होने के आधा घंटा पहले ट्रेन को प्लेटफॉर्म पर लगाने का निर्देश दिया गया है, जिससे कि यात्रियों को ट्रेन में सवार होने के लिए पर्याप्त समय मिल सकेगा। यात्रियों को भी इसी के अनुसार प्लेटफॉर्म पर आने की अनुमति होगी। इससे पहले उन्हें स्टेशन के बाहर बनाए गए अस्थायी प्रतीक्षालय में इंतजार करना होगा।
नई दिल्ली, पुरानी दिल्ली और आनंद विहार टर्मिनल पर 24 घंटे चलने वाले मिनी कंट्रोल रूम स्थापित किए गए हैं। इसके साथ हीं इन स्टेशनों पर विशेष ड्यूटी अधिकारी (एसडीओ) की तैनाती की गई है। अधिकारियों का कहना है कि मिनी कंट्रोल रूम की वजह से सभी विभागों में बेहतर तालमेल से काम किया जा सकेगा।
रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) और रेलवे सुरक्षा विशेष बल (आरपीएसएफ) के अतिरिक्त जवान स्टेशनों पर तैनात किए गए हैं। इसके साथ ही भीड़ संभालने और यात्रियों की मदद के लिए स्काउट्स और सिविल डिफेंस के सदस्यों की भी तैनाती की गई है। यात्रियों को कतारबद्ध करके ट्रेनों में बैठाने की व्यवस्था की गई है। व्यवस्था में किसी तरह की कोई खामी नहीं रहे, इसके लिए रेलवे बोर्ड और उत्तर रेलवे के वरिष्ठ कर्मचारी भी स्टेशनों का नियमित निरीक्षण करेंगे।
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