रामनगरी मंगलवार को आस्था और उम्मीदों की हिलोरों में डूबी रही। घड़ी की सुइयां सुबह के छह से कुछ ऊपर पहुंचीं और अगले ही पल 14 कोस की परिधि श्रद्धालुओं से पट गई। वे कतिपय समीक्षक गलत साबित हुए, जो यह कह रहे हैं कि फैसले की आहट से लोग सहमे हैं।
आशंकाओं से ठीक उलट कदम-कदम पर उत्साह है। आस्था में आकंठ डूबे लोग परिक्रमा फैसले के इंतजार को समर्पित कर रहे हैं। रामनगरी की परिक्रमा के बड़े हिस्से का स्पर्श कर बह रहीं पुण्य सलिला सरयू भी निराश नहीं कर रही हैं।
अधिसंख्य श्रद्धालु आगे बढ़ने से पूर्व सरयू जल शिरोधार्य करते हैं। अयोध्या की 14 कोसी परिक्रमा के दौरान श्रद्धालुओं से गुलजार सरयू तट। प्रभु राम के मंदिर के नाम लगी हर डुबकी। जीतू निषाद