कोरोना वायरस की वैक्सीन के लिए जहां दुनियाभर में कोशिशें चल रही हैं, वहीं बाबा रामदेव के पतंजलि आयुर्वेद द्वारा बनाई गई कोरोनिल विवाद का केंद्र बन गई है. बाबा रामदेव ने कोरोनिल को लेकर उठाए जा रहे तमाम सवालों पर आजतक से खास बातचीत में जवाब दिए.
बाबा रामदेव ने कोरोनिल पर विवाद को शब्दों का मायाजाल बताया है. इसके साथ ही बाबा रामदेव ने विवाद पर सरकार के साथ तालमेल के सवाल पर कहा कि मैंने इस मसले पर न पीएमओ में बात की है, न ही गृह मंत्री अमित शाह से बात की है और न ही किसी बड़े मंत्री से बात की है.
दरअसल, बाबा रामदेव ने कोरोनिल विवाद को शब्दों का मायाजाल बताते हुए ये कहा है कि आयुष मंत्रालय ने कोरोनिल को कोरोना मैनेजमेंट की दिशा में अच्छा प्रयास बताया है. मंत्रालय के इस रुख पर बाबा रामदेव ने कहा कि कोरोना मैनेजमेंट की जगह कोरोना पेशेंट ठीक हुए, ये भी बोल सकते हैं, लेकिन क्योर शब्द में दिक्कत थी, अब मैं क्योर शब्द नहीं बोल रहा हूं, लेकिन ये दवा पूरे देश में मिलेगी.
23 जून कोरोनिल की लॉन्चिंग के साथ ही शुरू हुए विवाद के बावजूद कोरोनिल मार्केट में कैसे मिलेगी, इस पर बाबा रामदेव से सवाल किया गया कि उन्होंने सरकार के साथ कौन सा मैनेजमेंट किया है.
इस सवाल पर बाबा रामदेव ने कहा, ”कोई मैनेजमेंट नहीं है. कोई हिडेन एजेंडा नहीं है. मैं लोगों का भला चाहता हूं. मैंने कोई पीएमओ में बात नहीं की है, कोई अमित शाह जी के यहां होम मिनिस्ट्री में बात नहीं की है, किसी बड़े मंत्री से मैंने बात नहीं है.
हां, आयुष मंत्रालय से जरूर बात की है. उन्होंने कहा कि स्वामी जी आप क्योर शब्द मत बोलिए, बाकी आप जो कर रहे हैं वो करते रहिए, उन्होंने मैनेजमेंट शब्द बोला. क्योर शब्द वाली बात हमने भी आयुष मंत्रालय की मान ली”