कोरोना संक्रमण की शुरुआत से बीते एक महीने पहले तक दिल्ली टॉप संक्रमित राज्यों में हुआ करती थी, लेकिन अब हालात सुधर गए हैं और राजधानी शीर्ष पांच राज्यों की सूची से बाहर होकर छठे स्थान पर खिसक गई है। यहां अन्य राज्यों के मुकाबले सबसे कम नए मरीज बढ़े हैं।

राजधानी में मार्च के पहले सप्ताह में संक्रमण का पहला मरीज मिला था। 15 अप्रैल तक दिल्ली टॉप तीन संक्रमित राज्यों में शामिल हो गई थी। पिछले महीने तक यही स्थिति रही। अगस्त के पहले सप्ताह से ही इसमें सुधार होने लगा।
इसके बाद से ही यहां ठीक होने वाले मरीजों की संख्या बढ़ने लगी। जितने मरीज संक्रमित मिलते थे, करीब उतने ही ठीक भी हो रहे थे। इससे नए मामलों में कमी आई।
इस दौरान अन्य राज्य जैसे आंध्र प्रदेश, कर्नाटक और उत्तर प्रदेश में संक्रमण के केस तेज गति से बढ़े। नतीजतन, अब ये तीनों राज्य दिल्ली को पीछे छोड़कर क्रमश: तीसरे, चौथे और पांचवें स्थान पर आ गए हैं। महाराष्ट्र, तमिलनाडु और आंध्र प्रदेश में दिल्ली से तीन गुना ज्यादा मरीज हैं।
करीब चार महीने तक दूसरे स्थान पर रहने के बाद अब दिल्ली छठे स्थान पर खिसक गई है। यहां रिकवरी दर 90 फीसदी है और संक्रमण दर भी सात फीसदी के आसपास है।
सफदरजंग अस्पताल के मेडिसन विभाग के अध्यक्ष डॉ. जुगल किशोर बताते हैं कि कोरोना हर राज्य में अलग-अलग समय पर गंभीर रूप ले रहा है। इस वायरस की यही प्रवृत्ति है। जो राज्य पहले ज्यादा प्रभावित थे, अब वहां केस कम हो गए हैं। जहां पहले केस नहीं थे, वहां नए मामले बढ़ रहे हैं। दिल्ली का टॉप पांच राज्यों की सूची से बाहर होना दर्शाता है कि यहां वायरस पर शिकंजा कसा गया है।
Live Halchal Latest News, Updated News, Hindi News Portal