जिला पंचायत सीईओ ने सही जवाब प्रस्तुत न करने और बिना अनुमति के विदेश यात्रा पर जाने पर चारों रोजगार सहायकों की सेवाएं समाप्त कर दी हैं। इनके प्रभार आसपास के दूसरे रोजगार सहायकों को सौंप दिए गए हैं।
दमोह जनपद पंचायत अंतर्गत आने वाली चार ग्राम पंचायतों में पदस्थ रोजगार सहायकों के द्वारा बिना सूचना दिए बैंकॉक घूमने जाने पर जिला पंचायत सीईओ अर्पित वर्मा ने उनकी सेवाएं समाप्त कर दी हैं। यह रोजगार सहायक बिना किसी सूचना, अनुमति और अवकाश के बैंकाक की यात्रा पर चले गए थे। मामले की शिकायत 12 जुलाई को जनपद सीईओ पूनम दूबे से की गई थी। जिसकी जानकारी जिला पंचायत सीईओ को मिली थी।
सूचना मिलने के बाद जिला पंचायत सीईओ ने नोटिस जारी करके चारों रोजगार सहायकों को तलब किया था। उनके ओर से जो जवाब प्रस्तुत किया गया। उसमें पाया गया कि 8 से 12 जुलाई तक चारों देश से बाहर थे। इतना ही नहीं, जनपद सीईओ ने जो नोटिस जारी किया। उसका जवाब भी चारों रोजगार सहायकों ने नहीं दिया। इससे साफ हो गया कि चारों बिना सूचना के विदेश गए थे। जनपद सीईओ पूनम दुबे ने पत्र जारी करके चारों से विदेश जाने से पहले अनुमति लेने के संबंध में जानकारी मांगी थी। जब उन्होंने जानकारी नहीं दी तो स्पष्ट हो गया कि चारों बैंकॉक गए थे। जिला पंचायत सीईओ ने सही जवाब प्रस्तुत न करने, बिना अनुमति के विदेश यात्रा पर जाने पर सेवाएं समाप्त कर दी हैं।
यह गए थे बैंकाक की यात्रा पर
जनपद पंचायत दमोह की ग्राम पंचायत मराहार में पदस्थ रोजगार सहायक अर्जुन पटेल का जिला पंचायत दमोह से अनुबंध निरस्त कर दिया गया है। अब इन्हें वेतन की पात्रता भी नहीं होगी। इसी तरह ग्राम पंचायत बिजौरी के रोजगार सहायक राजकुमार पटेल, आम चौपरा में पदस्थ रोजगार सहायक अयंक मिश्रा और ग्राम पंचायत ग्वारी में पदस्थ रोजगार सहायक कमलेश पटेल की सेवाएं समाप्त कर दी गईं हैं। जिला पंचायत सीईओ वर्मा ने बताया कि सभी को आदेश दे दिए गए हैं। इनके प्रभार आसपास की ग्राम पंचायतों में पदस्थ रोजगार सहायकों को सौंप दिए गए हैं।
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