नीट काउंसिलिंग की तैयारी शुरू हो गई है। इसके लिए अभ्यर्थियों के ऑनलाइन पंजीकरण शुक्रवार से शुरू हुए। मगर, परीक्षा में अव्वल अभ्यर्थियों में उम्र सीमा बाधा बन गई। इसको लेकर हजारों अभ्यर्थियों का पंजीकरण वेबसाइट पर अस्वीकार कर दिया गया। पांच मई को देशभर में नीट परीक्षा हुई थी। नेशनल टेस्टिंग एजेंसी द्वारा देशभर में परीक्षा कराई गई। जून के प्रथम सप्ताह में परिणाम घोषित कर दिया गया।

26 जून से एमबीबीएस-बीडीएस में दाखिले के लिए विभिन्न केंद्रों पर काउंसिलिंग होगी। इसको लेकर 21 जून से 24 जून तक नीट की वेबसाइट पर ऑनलाइन पंजीकरण होगा। वहीं शुक्रवार को पहले दिन ही छात्रों को अव्यवस्थाओं का सामना करना पड़ा। वेबसाइट पर अपर एज लिमिट तय कर दिया गया। इसमें सामान्य वर्ग के 25 वर्ष से अधिक उम्र व आरक्षित वर्ग के 30 वर्ष से अधिक अभ्यर्थियों के पंजीकरण के आवेदन निरस्त हो रहे हैं। यह देखकर नीट में अव्वल रैंक हासिल करने वाले अभ्यर्थियों के होश उड़ गए। उन्होंने चिकित्सा विभाग से मामले की शिकायत की।
न्यायालय दे चुका निर्देश, फिर भी यूपी के छात्र वंचित- नीट में अपर एज लिमिट लागू करने पर अभ्यर्थियों में आक्रोश है। सोशल एक्टीविस्ट घनश्याम श्रीवास्तव के मुताबिक 11 मई 2018 को सर्वोच्च न्यायालय ने सैकड़ों अभ्यर्थियों की रिट याचिका संख्या 1972/2018 पर फैसला सुनाया था। इसमें अपर एज लिमिट के छात्र भी काउंसिलिंग में भाग लेने के हकदार हैं। अब सिर्फ यूपी में अपर एज लिमिट के छात्रों को काउंसिलिंग में शामिल होने से रोका जा रहा है। वहीं अन्य प्रदेशों के छात्र काउंसिलिंग में भाग ले रहे हैं। नेशनल टेस्ट एजेंसी ने वेबसाइट पर अपर एज लिमिट तय की है। मामला संज्ञान में आया है। अभ्यर्थियों की समस्या निस्तारण के लिए मेल कर दिया गया है।
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